मैहरे बाजार उपमंडल बड़सर का एक महत्वपूर्ण बाजार है। करीब 12 नजदीकी गांवों के लोग यहां अपने प्रशासनिक काम करवाने या खरीददारी करवाने आते हैं। लोग बसों के साथ साथ अपने वाहन लेकर भी आते हैं , लेकिन बात करें अगर वाहन खड़े करने की, तो ऐसी सुविधा आपको मैहरे बाजार में कम ही देखने को मिलेगी। मैहरे बाजार में सड़क के दोनों तरफ वाहन खड़े रहते हैं। सड़क के दोनों तरफ वाहन खड़े रहने से राहगीरों को मुख्य सड़क पर चलना पड़ता है, जिससे किसी भी वक़्त दुर्घटना होने की सम्भावना बनी रहती है। वहीं जो लोग गाड़ियों में आते हैं
उन्हें भी सड़क पर ही अपनी गाड़ियां खड़ी करनी पड़ती हैं। मैहरे से गलोड़ रास्ते पर आपको अक्सर सड़क के दोनों तरफ गाड़ियों की लंबी कतारें देखने को मिलेंगी। बात करें अगर पार्किंग व्यवस्था की तो एक प्राइवेट पार्किंग और एक सरकारी पार्किंग को छोड़ कर यहां पार्किंग की कोई व्यवस्था नहीं है। ये दो पार्किंग स्थल मैहरे जैसे बड़े कस्बे की जरूरतों को पूरा करने में अक्षम हैं, इस कारण अक्सर मैहरे बाजार में जाम की स्थिति उतपन्न होती रहती है।
इस विषय में जब हमने बड़सर के उपमंडलाधिकारी शशि पाल शर्मा से बात की तो उन्होनें बताया कि मिनी सचिवालय बनने के बाद ये समस्या नहीं रहेगी क्योंकि वहां पर पार्किंग की उचित व्यवस्था की जाएगी। वहीं वर्तमान समय की बात करें तो पार्किंग के लिए प्रशासन ने जगह चिन्हित की है, बस स्टैंड न बनने की वजह से इस स्थान को हम पार्किंग के लिए उपयोग कर रहे हैं।
लेकिन सवाल यही है कि अगर पार्किंग के लिए स्थान चिन्हित किये गए हैं तो लोग सड़क किनारे अपने वाहन खड़े करने को मजबूर क्यों हैं।